क्वालालैमपुर
क्वालालैमपुर
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पुस्तक नाम | हिन्दी विश्वकोश खण्ड 3 |
पृष्ठ संख्या | 256 |
भाषा | हिन्दी देवनागरी |
संपादक | सुधाकर पांडेय |
प्रकाशक | नागरी प्रचारणी सभा वाराणसी |
मुद्रक | नागरी मुद्रण वाराणसी |
संस्करण | सन् 1976 ईसवी |
उपलब्ध | भारतडिस्कवरी पुस्तकालय |
कॉपीराइट सूचना | नागरी प्रचारणी सभा वाराणसी |
लेख सम्पादक | नवलकिशोरप्रसाद सिंह |
क्वालालूमपुर मलाया संघ एवं उसके अंतर्गत सलैंगर (Selangor) राज्य की राजधानी।[१] इसका विकास सर्वप्रथम टिन की खान खोदने के उद्देश्य से हुआ। तत्पश्चात् जब इसके निकटवर्ती क्षेत्रों में टिन की अन्य खानों का पता चला तथा रबर के बगीचे लगाए गए तब इस नगर की उन्नति बहुत तेजी से हुई। फलत: पिछले 20 वर्षों में इसकी जनसंख्या लगभग चौगुनी हो गई। मलाया का अब यह प्रमुख व्यापारिक केंद्र है। यहाँ टिन गलाने का कारखाना है। 1958 ई. में मलाया विश्वविद्यालय सिंगापुर से स्थानांतरित कर क्वालालूमपूर में स्थापित किया गया। इस नगर में अनेक आधुनिक शैली के भवन हैं। 1959 में यहाँ की जनसंख्या 4,77,238 थी। यहाँ के निवासियों में चीनियों की संख्या काफी बड़ी है।
टीका टिप्पणी और संदर्भ
- ↑ स्थिति :380 उत्तरीय अक्षांश तथा 1010 37’ पूर्वी देशांत