"इबादान": अवतरणों में अंतर
नेविगेशन पर जाएँ
खोज पर जाएँ
[अनिरीक्षित अवतरण] | [अनिरीक्षित अवतरण] |
Bharatkhoj (वार्ता | योगदान) ('{{लेख सूचना |पुस्तक नाम=हिन्दी विश्वकोश खण्ड 1 |पृष्ठ स...' के साथ नया पन्ना बनाया) |
Bharatkhoj (वार्ता | योगदान) No edit summary |
||
पंक्ति १: | पंक्ति १: | ||
{{भारतकोश पर बने लेख}} | |||
{{लेख सूचना | {{लेख सूचना | ||
|पुस्तक नाम=हिन्दी विश्वकोश खण्ड 1 | |पुस्तक नाम=हिन्दी विश्वकोश खण्ड 1 |
०७:५८, २८ जून २०१८ के समय का अवतरण
चित्र:Tranfer-icon.png | यह लेख परिष्कृत रूप में भारतकोश पर बनाया जा चुका है। भारतकोश पर देखने के लिए यहाँ क्लिक करें |
इबादान
| |
पुस्तक नाम | हिन्दी विश्वकोश खण्ड 1 |
पृष्ठ संख्या | 530 |
भाषा | हिन्दी देवनागरी |
संपादक | सुधाकर पाण्डेय |
प्रकाशक | नागरी प्रचारणी सभा वाराणसी |
मुद्रक | नागरी मुद्रण वाराणसी |
संस्करण | सन् 1964 ईसवी |
उपलब्ध | भारतडिस्कवरी पुस्तकालय |
कॉपीराइट सूचना | नागरी प्रचारणी सभा वाराणसी |
लेख सम्पादक | लेखराज सिंह |
इबादान पश्चिमी अफ्रीका के नाइजीरिया राज्य का सबसे बड़ा नगर है। यह लागौस से रेल द्वारा 125 मील पर पूर्वोत्तर मे स्थित है। यह नगर एक पहाड़ी की ढाल पर बसा हुआ तथा नीचे ओना नदी की घाटी तक फैला हुआ है। इबादान एक मिट्टी की चहारदीवारी से घिरा हुआ है जिसकी परिधि लगभग 18 मील है। यहाँ बहुत सी मस्जिदें हैं तथा यूरोपीय ढंग की इमारतें बहुत कम हैं। नगर की अधिकांश जनसंख्या का भरण पोषण कृषि से होता है, परंतु यहाँ बहुत से कुटीर धंधे भी हैं। इबादान पश्चिम प्रांतीय सरकार की राजधानी है, अत: इसका आर्थिक संगठन बहुत कुछ ठीक है। यहाँ सन् 1947 ई. में एक यूनिवर्सिटी कालेज की स्थापना की गई जो संघीय राज्य के अंतर्गत है। इसके स्नातकों को लंदन विश्वविद्यालय से कला, विज्ञान, चिकित्सा तथा कृषि में उपाधियाँ मिलती हैं।
टीका टिप्पणी और संदर्भ