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ऐरैन
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पुस्तक नाम | हिन्दी विश्वकोश खण्ड 2 |
पृष्ठ संख्या | 282 |
भाषा | हिन्दी देवनागरी |
संपादक | सुधाकर पाण्डेय |
प्रकाशक | नागरी प्रचारणी सभा वाराणसी |
मुद्रक | नागरी मुद्रण वाराणसी |
संस्करण | सन् 1964 ईसवी |
उपलब्ध | भारतडिस्कवरी पुस्तकालय |
कॉपीराइट सूचना | नागरी प्रचारणी सभा वाराणसी |
लेख सम्पादक | नृपेंद्रकुमार सिंह |
ऐरैन स्काटलैंड का सबसे बड़ा द्वीपसमूह है जो 'फ़र्थ ऑव क्लाइड' के उत्तर में है। इसकी कुल लंबाई 'कुक ऑव ऐरैन' से बेन्न तक 20 मील है तथा अधिकतम चौड़ाई 'दुमादून प्वाइंट' से 'किंग्स क्रॉस' तक 11 मील है। इसका क्षेत्रफल 165 वर्ग मील तथा आबादी 1970 में 7,901 थी। एरैन ऊबड़ खाबड़ किंतु देखने में सुंदर द्वीपसमूह है। यहाँ की भूगर्भिक बनावट बहुत जटिल है। सबसे अधिक ऊँचाई उत्तर में है। यहाँ तृतीयक कल्पयुगीन नितुन्न (इंट्रू सिव) ग्रैनाइट मिलते हैं। द्वीपसमूह में चारों तरफ एक तटीय सड़क है जो 55 मील लंबी है। यह द्वीपसमूह 1263 ई. के पहले नारवे के अधीन था। दक्षिण-पूर्वी तट के दियम बंदरगाह से एक मील दूर पर प्लाड्डा द्वीप है। जहाँ पर 'लाइट हाउस' तथा तार का केंद्र है जहाँ से क्लाइड में जहाजों के आने के पहले ग्लासगो तथा ग्रीन ओक को सूचना दे दी जाती है।
टीका टिप्पणी और संदर्भ