आमोय

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लेख सूचना
आमोय
पुस्तक नाम हिन्दी विश्वकोश खण्ड 1
पृष्ठ संख्या 394
भाषा हिन्दी देवनागरी
संपादक सुधाकर पाण्डेय
प्रकाशक नागरी प्रचारणी सभा वाराणसी
मुद्रक नागरी मुद्रण वाराणसी
संस्करण सन्‌ 1964 ईसवी
उपलब्ध भारतडिस्कवरी पुस्तकालय
कॉपीराइट सूचना नागरी प्रचारणी सभा वाराणसी
लेख सम्पादक श्री शिवमंगल सिंह

आमोय नामक द्वीप पर स्थित आमोय नगर, जिसे सुमिंग भी कहते हैं, नौ मील लंबा है। यह चीन देश का एक प्रमुख बंदरगाह है तथा फुकिन प्रांत का द्वितीय सर्वप्रधान नगर है। एक पर्वतश्रेणी इसे दो भागों में विभाजित करती है। इनमें से एक आंतरिक नगर है तथा दूसरा बाह्म नगर। दक्षिण फुकिन तट का सर्वश्रेष्ठ बंदरगाह अंबाय अपने आँचल में बड़े बड़े सागरीय पोतों को ले सकता है। यहाँ पर सुदंर शुष्क नौनिवेश (ड्राइडॉक्स) भी हैं। आमोय चाय, कागज तथा तंबाकू का प्रमुख निर्यातकेंद्र है। यहाँ चावल, रूई, कपड़ा लौह वस्तुओं तथा दूसरी औद्योगिक वस्तुओं का आयात होता है। यहाँ का तटीय व्यापार भी यथेष्ट महत्वपूर्ण है तथा यहाँ के प्रमुख व्यापारी और धनी चीन के कुबेर समझे जाते हैं। 18वीं शताब्दी के अंतिम चरण में आमोय को अंतरराष्ट्रीय व्यापार में यथेष्ट ख्याति मिली और चाय के व्यापार में स्वर्ण की वर्षा होने लगी। 1841 ई. में ब्रिटिश चीनी अफीम युद्ध में यह नगर ब्रिटेन के अधिकार में आ गया तथा 1842 ई. की संधि के पश्चात्‌ चीन के चार अन्य बंदरगाहों के साथ यह भी अंतरराष्ट्रीय व्यापार के लिए खुल गया। फुकिन अभियान के समय जापनियों ने आमीय को ध्वस्त कर दिया। 1945 ई. तक यह उनके अधिकार में रहा।



टीका टिप्पणी और संदर्भ