चांग छुन किउ
चांग छुन किउ
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पुस्तक नाम | हिन्दी विश्वकोश खण्ड 4 |
पृष्ठ संख्या | 181 |
भाषा | हिन्दी देवनागरी |
संपादक | रामप्रसाद त्रिपाठी |
प्रकाशक | नागरी प्रचारणी सभा वाराणसी |
मुद्रक | नागरी मुद्रण वाराणसी |
संस्करण | सन् 1964 ईसवी |
उपलब्ध | भारतडिस्कवरी पुस्तकालय |
कॉपीराइट सूचना | नागरी प्रचारणी सभा वाराणसी |
लेख सम्पादक | जगदीश चंद्र जैन |
चांग छुन् किउ ताओ धर्म के अनुयायी संत जिनका जन्म सन् 1148 में शांतुंग में हुआ था। मंगोल साम्राज्य के प्रतिष्ठाता चिंगेज खाँ ने सन् 1229 में उन्हें बड़े आदरपूर्वक आमंत्रित किया। 15 मई, सन् 1219 का लिखा हुआ चिंगेज़ खाँ का वह पत्र अभी तक सुरक्षित है। पत्र पाकर सन् 1219 में चांग शांतुंग से पीकिंग के लिये रवाना हुए। अनेक पर्वतश्रृंखलाएँ और नदी नाले लाँघकर वे हिंदुकुश पहुँचे, जहाँ चिंगेज खाँ ने अपनी सेना के साथ पड़ाव डाल रखा था। सन् 1224 में वे अपनी यात्रा से लौटे। चांग के शिष्यों और साथियों ने इस साहसिक यात्रा का मनोरंजक वर्णन किया है। चिंगेज खाँ ने ताओ मठ बनाने के लिये कुछ भूमि चांग को दान दी थी।
टीका टिप्पणी और संदर्भ